Monday, November 25, 2024
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*गोठान गांव वालों द्वारा संचालित योजना भ्रष्टाचार भाजपा की दिमागी फितूर*

*गौशाला के नाम पर 1667 करोड़ का भ्रष्टाचार रमन राज में हुआ था*

 

प्रदेश कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष सुशील आनंद शुक्ला ने पत्रकारों से चर्चा करते हुये कहा कि कांग्रेस सरकार के खिलाफ भाजपा के पास कोई मुद्दा नहीं बचा है। मुद्दाविहीन भाजपा राज्य सरकार के जनहित के कामों का विरोध नहीं कर पा रही है तो सफल योजनाओं में झूठे आरोप लगाकर अपनी भड़ास निकालती है। कांग्रेस सरकार ने प्रदेश में 9790 गोठान बनाकर राज्य के पशओं के संरक्षण उनकी देख रेख का अभिनव प्रयास किया है। यह पूरी योजना गांव वालों के सहयोग, ग्रामवासियों के द्वारा बनाई गयी गोठान समितियों तथा गांव के बहनों के स्व सहायता समूह के माध्यम से संचालित होती है भाजपा इस योजना पर भ्रष्टाचार के झूठे आरोप लगा कर ग्राम वासियों के निष्ठा ईमानदारी पर सवाल खड़ा कर रही है। गोठानों में भ्रष्टाचार के आरोप भाजपा का दिमागी फितूर है।

 

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की सरकार ने प्रदेश में 10894 गोठान स्वीकृत किया जिसमें 9790 गोठानो का निर्माण किया, इन गोठानो के माध्यम से पूरे प्रदेश में 3 लाख 50 हजार एकड़ जमीन चारागाह के लिए आरक्षित है। एक ओर जहां रमन राज में 1000 एकड़ सरकारी जमीन का बंदरबाट हुआ, कांग्रेस सरकार ने साढ़े तीन लाख जमीन आरक्षित किया।

 

भाजपा के ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जैविक खाद के बढ़ावा देने के नाम पर उर्वरकों की सब्सिडी में 35 प्रतिशत कटौती की घोषणा करते है। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अरूण साव छत्तीसगढ़ में वर्मी कंपोस्ट का विरोध करते है। भाजपा बतायें मोदी का स्टैंड सही है या साव का। मोदी गोधन न्याय योजना का नाम बदलकर अपने बजट में शामिल करते है। भाजपा की 8 राज्य सरकार गोठान योजना को अपने यहां लागू करने की योजना बनाती है छत्तीसगढ़ के भाजपाई विरोध करते है।

 

पूरे देश में छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार देश की अकेली सरकार है जो गौसेवा के लिये गांव के गोधन एवं अन्य पशुओं के लिये गोठान बना कर गोसेवा कर रही है तो भाजपा को इसमें भी पीड़ा हो रही। भाजपा गोठानों को बदनाम करने के लिये अभियान चला रही जबकि गोठानों और गोधन न्याय योजना की तारीफ पूरे देश में हो रही। भाजपा गोठानों में भ्रष्टाचार की बात कर अपनी खीझ निकाल रही है। भाजपा को गोठान और गौशाला के बीच का मूल फर्क ही नहीं मालूम। गोठान छत्तीसगढ़ की वर्षों की पुरातन परंपरा है, हमारी सरकार ने गांवों के उसी गोठान को संवारने का काम किया है। 15 सालों तक भ्रष्टाचार करने वालों को हर जगह भ्रष्टाचार नजर आता है। भ्रष्टाचार तो 15 सालों तक रमन राज में होता था।

 

रमन राज में गौशालाओं के नाम पर 1677.67 करोड़ रू. भाजपाईयों ने गौशाला के नाम पर डकारा। रमन राज में 15 साल में 17000 से अधिक गायों की मौतें भूख से, बिना चारा पानी के तड़प कर हुई।

 

15 साल में गौशाला के नाम से भाजपा नेताओं ने गौमाता का अनुदान को खाया, गौशाला के नाम से सरकारी जमीनों को आवंटित कर निजी उपयोग किया। आज गोधन के संरक्षण की बेहतर व्यवस्था हो रही तो इनको पीड़ा हो रही है।

 

15 साल तक गौशालाओं को प्रतिदिन आहार के नाम पर 115 गौशालाओं को प्रतिदिन 28 लाख 75 हजार रु. से अधिक राशि दिया जाता था। इसकी कुल राशि होती है एक साल में 1 अरब 4 करोड़ 93 लाख 75 हजार, 15 साल में 1560 करोड़ का गौशालाओं में चारा के नाम पर दिया गया।

 

20 हजार रु. पशुओं की दवाइयों के लिए हर माह दिया जाता था प्रत्येक गौशाला को एक साल में 2 लाख 40 हजार रुपया दिया गया। 115 गोशाला को एक साल दवाई के नाम से 2 करोड़ 76 लाख रु. 15 साल में 41.5 करोड़ रु. के करीब दिया गया। शेड निर्माण, बोरवेल, बिजली व्यवस्था के अलावा अन्य खर्चों के नाम से 76 करोड़ रू. बंदरबांट किया।

 

गौशाला को लगभग 5 से 10 एकड़ सरकारी जमीन आवंटित किया गया। 15 साल में लगभग 1000 एकड़ से अधिक के जमीन, भाजपा नेताओं ने गौशाला के नाम से लिया और उसका निजी उपयोग किया।

 

रमन सिंह के 15 सालों में गायों की सेवा के नाम पर भाजपा और आरएसएस के लोगों ने गायों को भूखा रख कर अपना पेट भरा, भाजपा राज में 17000 से अधिक गायों की मौतें हुई थी जिसके लिये हमने विपक्ष में रहते आंदोलन किया था।

 

दुर्ग जिले धमधा के राजपुर की गौशाला में गायें चारे-पानी के अभाव में भूखे मर गयी। दुर्ग के दशंरगपुर गौशाला में सैकड़ों गाय मृत पायी गयी थी, हरीश वर्मा के रिश्तेदारों की दो अन्य गौशालाएं में भी जहां गायें मृत पायी गयी थी। कांकेर के कर्रामाड़ में इलाज, चारा, दाना के अभाव में से गायों की मौत हुयी थी। दुर्गकोंडल में गाय की मौत। रायगढ़ स्थित चक्रधर गौशाला में गायों की मौत। कर्रामाड़ में गायों की मौत। धमतरी जिला की गौशाला में गाय की मौत। गरियाबंद की गौशाला में, महासमुंद बागबाहरा गौशाला में गाय मरी। इन गौशालाओं में गायों की मौतों के मामलो में कांग्रेसजनों ने विपक्ष में रहते आंदोलन भी किया था। पंखाजुर की गौशाला में, गोंडमर्रा बेमेतरा की गौशाला में, ग्राम रानी साजा के गोरक्षा केंद्र में, बिलासपुर के पथरिया में, कोरबा की गौशाला में गायों की मौत हुई थी। पूरे प्रदेश में रमन राज में गाय मरती भाजपाई अपना पेट भरते रहे।

 

पत्रकार वार्ता में प्रदेश महामंत्री चंद्रशेखर शुक्ला, प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर, राम गिडलानी, प्रकाश मणी वैष्णव, विकास विजय बजाज, सत्य प्रकाश सिंह उपस्थित थे।

 

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